Saturday, July 30, 2011

आज तुम से ही पूंछ लूं

आज तुम से ही

पूंछ लूं

सत्य कह कर

नाराज़ करूँ

या झूठ बोल कर,

खुश करूँ ?

निरंतर सवालों में

जकड़ा हूँ

अहम् बढ़ाऊँ

या कम करूँ ?

सच्चा मित्र

बन कर रहूँ

या दिखावा करूँ ?

सब जीते जैसे

मैं भी वैसे ही जीऊँ ?

30-07-2011

1268-152-07-11

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