वो दोनों मिले
मिल कर हम हुए
प्रेम के संसार का
सृजन हुआ
परिणीति में
प्रेम फल उत्पन्न
हुआ
जीवन दोनों का
सार्थक हुआ
दो से तीन हुए
जीवन को
अर्थ मिल गया
निरंतर
माँ को ममत्व का
पिता को पितृत्व का
कर्तव्य निभाने का
एक जीवन को
संवारने का
सुखद अवसर
प्राप्त हुआ
09-08-2011
1325-47-08-11
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