निरंतर कुछ सोचता रहे,कुछ करता रहे,कलम के जरिए बात अपने कहता रहे.... (सर्वाधिकार सुरक्षित) ,किसी की भावनाओं को ठेस पहुचाने का कोई प्रयोजन नहीं है,फिर भी किसी की भावनाओं को ठेस पहुंचे तो क्षमा प्रार्थी हूँ )
चेहरा खूबसूरत,
अंदाज़ निराला
रंग-रूप न्यारा
देखते ही
दिल को लुभाया
बातों ने मुझे उनका
बनाया
निरंतर पूंछा सबसे
कोई नहीं
समझा पाया
मोहब्बत क्यों?
कब?
और कैसे होती है?
अब समझ आ गया
30-07-2011
1266-150 -07-11
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