अब ज़िन्दगी की
हकीकत जान गया हूँ
अपने में सिमट
गया हूँ
दूसरों को फैलने का
ज़िन्दगी की
सच्चाई जानने का
भरपूर मौक़ा दे रहा हूँ
वो भी मैदान में
उतर जाएँ
जज्बे और हिम्मत से
लड़ लें
मन की निकाल लें
हकीकत जान लें
जल्दबाजी का
नतीजा मिल जाएगा
जब थक जाएँ
तो बुजुर्गों से पूंछ लें
अनुभव और उम्र का अर्थ
समझ आ जाएगा
क्यों सब्र रखने के लिए
कहा जाता
सत्य पता चल जाएगा
बाल धूप में सफ़ेद
नहीं होते
ये भी मालूम हो
जाएगा
05-07-2011
1139-23-07-11
No comments:
Post a Comment