दिल
और दिमाग में
झगडा हुआ
दिमाग बोला दिल से
तुझे क्या चाहिए
दिल ने जवाब दिया
सुकून दिमाग में चाहिए
दिमाग बोला
अपने पर काबू रखा करो
ज्यादा ना मचला करो
दिल बोला तुम्ही रास्ता
दिखाते हो
ज्यादा सोचते हो
परेशान खुद होते हो
निरंतर परेशाँ मुझे भी
करते हो
में तो दिल हूँ
दिल से दिल लगाता हूँ
अपने आप से मजबूर हूँ
दरवाज़ा खुला रखता हूँ
जो भी आ जाए
प्यार से उसे
रखता हूँ
06-11-2010
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